जीवन को जानना है तो सबसे पहले मृत्यु को जानो। किसी की चिता जलते तो जरूर देखी होगी, नहीं देखी है तो एक बार जाकर देखना. उस पर जो लेटा हुआ एक इन्सान दिख रहा है न, वो और कोई नहीं है, तुम ही हो. उसके थोड़ा ऊपर उठकर देखोगे तो जो आग की लपटे दिख रही हैं, वो तुम्हारी अनुभूति है, और इन सबसे ऊपर जो काला धुँआँ देख रहे हो, वही जीवन है.